उत्तराखंड

केदारनाथ की भाजपा विधायक शैला रानी रावत का निधन, रीढ़ की हड्डी में लगी थी चोट

केदारनाथ की भाजपा विधायक शैला रानी रावत का मंगलवार देर शाम निधन हो गया। उन्होंने देहरादून के मैक्स हॉस्पिटल में आखिरी सांस ली। दरअसल, मैक्स अस्पताल में शैला रानी पिछले दो दिनों से वेंटिलेटर सपोर्ट पर थीं। रीढ़ की हड्डी में चोट लगने के बाद उन्हें भर्ती कराया गया था। वह 68 वर्ष की थीं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शैला रानी रावत के निधन पर शोक व्यक्त किया है।सीएम धामी ने एक्स पर लिखा, ‘केदारनाथ विधानसभा से लोकप्रिय विधायक श्रीमती शैला रानी रावत जी के निधन का अत्यंत पीड़ादायक समाचार प्राप्त हुआ। उनका जाना पार्टी और क्षेत्रवासियों के लिये अपूरणीय क्षति है। उनकी कर्तव्यनिष्ठा और जनसेवा के प्रति समर्पण भाव को सदैव याद रखा जाएगा। ईश्वर से दिवंगत आत्मा को अपने श्रीचरणों में स्थान एवं शोक संतप्त परिजनों व समर्थकों को यह असीम कष्ट सहने की शक्ति प्रदान करने की कामना करता हूँ। ॐ शांति!’

कांग्रेस से बगावत कर भाजपा में हुईं थीं शामिल
शैला रानी रावत पहली बार साल 2012 के विधानसभा चुनाव में केदारनाथ सीट से जीत हासिल की थीं। हालांकि तब उन्होंने कांग्रेस के टिकट से चुनाव लड़ा था। वहीं 2016 में वह उन नौ कांग्रेस विधायकों में शामिल थीं, जिन्होंने तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत के खिलाफ विद्रोह किया और भाजपा में शामिल हो गए। हालांकि इसके अगले साल 2017 के चुनाव में शैला रानी को हार का सामना करना पड़ा। 2022 के चुनाव में भाजपा ने उन्हें केदारनाथ सीट से ही टिकट दिया और शैला ने जीत हासिल की थी।

जानकारी के मुताबिक, चुनाव प्रचार के दौरान गिरने से उन्हें आंतरिक चोट आई थीं। मांस फटने के कारण उन्हें कैंसर भी हो गया था। करीब तीन वर्ष तक चले इलाज के बाद वह स्वस्थ होकर अपने घर लौटीं और फिर से राजनीति में सक्रिय हो गईं। भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर उन्होंने साल 2022 में एक बार फिर जीत हासिल की। हाल में हुए लोकसभा चुनाव में प्रचार के दौरान, शैला रानी रावत ओंकारेश्वर मंदिर, ऊखीमठ की सीढ़ियों से गिर गईं थीं। इस कारण उनकी रीढ़ की हड्डी फ्रैक्चर हो गया। जिसकी मेदांता अस्पताल में सर्जरी हुई थी, जहां से ठीक होकर वह उत्तराखंड लौट आई थीं। लेकिन बीते कुछ दिनों से उनकी तबीयत खराब हो गई थी, जिसके बाद उन्हें देहरादून के मैक्स अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहां उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया, लेकिन तीन दिन बाद उनकी मौत हो गई। आज उनकी पार्थिव देह का दाह संस्कार किया जाएगा।

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