मुख्यमंत्री की सुरक्षा में बड़ी चूक, फ्लीट वाहन खराब होने से हड़कंप

मुख्यमंत्री की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल

उत्तराखंड में मुख्यमंत्री की सुरक्षा से जुड़ा एक गंभीर मामला सामने आया है। सुरक्षा फ्लीट में तैनात एक वाहन में तकनीकी खराबी आने से ड्यूटी में चूक की स्थिति बनी, जिसे सुरक्षा एजेंसियों ने अत्यंत संवेदनशील माना है। मुख्यमंत्री Z+ श्रेणी की सुरक्षा में रहते हैं, ऐसे में इस तरह की लापरवाही ने पूरे सिस्टम पर सवाल खड़े कर दिए हैं।


ADG इंटेलिजेंस ने दिखाई सख्ती

घटना की जानकारी मिलते ही अपर पुलिस महानिदेशक, अभिसूचना एवं सुरक्षा अभिनव कुमार ने त्वरित और कठोर कदम उठाए। प्रारंभिक जांच में सुरक्षा चूक के लिए जिम्मेदार पाए गए संबंधित कर्मी को तत्काल निलंबित कर दिया गया है। पुलिस मुख्यालय स्तर पर इसे “शून्य सहनशीलता” का मामला माना गया है।


सात दिन में जांच रिपोर्ट के निर्देश

मुख्य सुरक्षा अधिकारी की रिपोर्ट के आधार पर पुलिस अधीक्षक (सुरक्षा) को पूरे प्रकरण की विस्तृत जांच कर सात दिन के भीतर रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए गए हैं। जांच में यह भी देखा जाएगा कि तकनीकी खराबी समय रहते क्यों नहीं पकड़ी गई और जिम्मेदारी किस स्तर पर तय होती है।


सभी सुरक्षा वाहनों की तकनीकी जांच

मुख्यमंत्री सुरक्षा और राजभवन सुरक्षा में लगे सभी वाहनों की तत्काल भौतिक और तकनीकी जांच के आदेश दिए गए हैं। निरीक्षण रिपोर्ट के आधार पर जो वाहन सुरक्षा ड्यूटी के योग्य नहीं पाए जाएंगे, उन्हें हटाकर नए वाहनों से प्रतिस्थापन किया जाएगा।


प्रशासनिक स्तर पर मचा हड़कंप

इस घटना के बाद पुलिस और प्रशासनिक महकमे में हड़कंप है। मुख्यमंत्री की सुरक्षा में किसी भी तरह की ढिलाई को अब सीधे जवाबदेही और कार्रवाई से जोड़ा जा रहा है। यह मामला आने वाले दिनों में सुरक्षा प्रोटोकॉल में बड़े बदलाव की ओर भी इशारा कर रहा है।

 

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