लखनऊ के लुलु मॉल में दहशत का जाल: धर्मांतरण, दुष्कर्म और ब्लैकमेलिंग की साजिश बेनकाब!

लखनऊ |

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के प्रतिष्ठित लुलु मॉल से एक सनसनीखेज और रूह कंपा देने वाला मामला सामने आया है, जिसने न केवल शहर, बल्कि पूरे प्रदेश में हलचल मचा दी है। मॉल के कैश सुपरवाइजर मोहम्मद फरहाज उर्फ फराज पर एक हिंदू युवती ने दुष्कर्म, धर्मांतरण के दबाव और ब्लैकमेलिंग जैसे जघन्य आरोप लगाए हैं। यह मामला अब केवल एक आपराधिक घटना नहीं, बल्कि धार्मिक पहचान, महिलाओं की सुरक्षा और सामाजिक विभाजन की भयावहता का प्रतीक बनता जा रहा है।


💔 शोषण की शुरुआत: कोल्ड ड्रिंक में नशा और कैमरे में कैद दरिंदगी

पीड़िता, जो सुल्तानपुर की रहने वाली है और लुलु मॉल में ही काम करती थी, ने पुलिस को बताया कि आरोपी फरहाज ने उसे झांसे में लेकर अपने घर बुलाया। वहां कोल्ड ड्रिंक में नशीला पदार्थ मिलाकर उसे बेहोश कर दिया और फिर उसके साथ दुष्कर्म किया। इतना ही नहीं, उस दरिंदगी का वीडियो बनाकर, फरहाज ने युवती की ज़िंदगी को ब्लैकमेलिंग और भय के अंधेरे में झोंक दिया।


🔥 ब्लैकमेलिंग, शारीरिक प्रताड़ना और जेवर की लूट

होश में आने के बाद जब पीड़िता ने विरोध किया, तो फरहाज ने वीडियो वायरल करने की धमकी दी। उसने न सिर्फ बार-बार बलात्कार किया, बल्कि पैसे, जेवर और मानसिक शांति भी छीन ली। विरोध करने पर पीड़िता को सिगरेट से दागा गया, बेरहमी से पीटा गया — एक भयावह कहानी जो हर संवेदनशील दिल को झकझोर देती है।


🕋 “इस्लाम कबूल करो, वरना नौकरी छोड़ो” – धर्मांतरण का दबाव

इस पूरे प्रकरण में सबसे चौंकाने वाला मोड़ तब आया, जब फरहाज ने पीड़िता से कहा कि अगर वह मॉल में नौकरी करना चाहती है, तो उसे इस्लाम कबूल करना होगा। यह बयान न केवल व्यक्तिगत अपराध को धार्मिक रंग देता है, बल्कि एक गहरे और सुनियोजित धर्मांतरण रैकेट की ओर भी इशारा करता है। क्या लुलु मॉल की दीवारों के भीतर धर्मांतरण की कोई गुप्त साजिश चल रही है?


🚓 योगी सरकार की सख्ती: फराज गिरफ्तार, लेकिन अभी कई परतें बाकी

पीड़िता की हिम्मत और साहस के दम पर सुशांत गोल्फ सिटी थाने में एफआईआर दर्ज हुई, और लखनऊ पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए फरहाज को गिरफ्तार कर लिया। फरहाज, जो अयोध्या के घोसियाना पहाड़गंज का रहने वाला है, अब सलाखों के पीछे है। लेकिन सवाल यह है — क्या यह मामला यहीं खत्म होता है?

  • क्या फरहाज अकेला था या इसका कोई गिरोह सक्रिय है?
  • क्या लुलु मॉल में पहले भी अन्य युवतियों को निशाना बनाया गया है?
  • क्या धर्मांतरण के इस कथित प्रयास के पीछे कोई बड़ा फंडिंग नेटवर्क है?

😡 जनाक्रोश चरम पर: “अब चुप नहीं बैठेंगे!”

घटना के बाद से ही सोशल मीडिया पर आक्रोश की लहर दौड़ गई है। लोग न्याय की मांग कर रहे हैं, और महिलाओं की सुरक्षा को लेकर सवाल उठा रहे हैं — “क्या लुलु मॉल अब सुरक्षित है?”

इस बीच, मॉल प्रबंधन पर भी सवाल उठने लगे हैं कि कैसे इतने महीनों तक ऐसा अपराध चलता रहा, और किसी को भनक तक नहीं लगी?


📌 ध्यान दें: विवादों से पुराना नाता है लुलु मॉल का

गौरतलब है कि लुलु मॉल पहले भी नमाज़ पढ़ने को लेकर विवादों में घिर चुका है। चार युवकों को सार्वजनिक स्थान पर धार्मिक गतिविधियों के चलते गिरफ्तार किया गया था। ऐसे में यह नया मामला फिर से धार्मिक असंतुलन और षड्यंत्रों की ओर इशारा करता है।


🚨 अब अगली कार्रवाई क्या?

यह मामला अब केवल एक एफआईआर नहीं, बल्कि सिस्टम, समाज और सुरक्षा की बड़ी परीक्षा बन चुका है। क्या योगी सरकार इस पर ‘Zero Tolerance’ की नीति अपनाएगी? क्या लुलु मॉल में सुरक्षा ऑडिट और धर्मांतरण की जांच होगी?


🧿 इस घटना ने हर उस व्यक्ति को झकझोर कर रख दिया है, जो एक सभ्य, सुरक्षित और धर्मनिरपेक्ष भारत में भरोसा रखता है। अब केवल एक मांग है —
“न्याय हो… और जल्दी हो।”

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